UFO In Manipur: एलियंस को लेकर दुनियाभर में चल रही थ्योरीज के बीच मणिपुर के पास एक यूएफओ देखा गया, जिसे मारने के लिए दो फाइटर जेट भी भेजे गए. हालांकि तब तक वो गायब हो चुका था.
UFO In Manipur: दुनियाभर में एलियंस को लेकर चल रही तमाम थ्योरीज के बीच भारत में कुछ ऐसा हुआ, जिसने फिर से एक बार इस बहस को तेज कर दिया है. भारत के मणिपुर में एक ऐसी चीज देखी गई, जिसने तमाम फ्लाइट्स की आवाजाही को प्रभावित कर दिया. हवा में काफी देर तक ये चीज उड़ती दिखाई दी, जिसके बाद भारतीय एयरफोर्स हरकत में आई और फाइटर जेट राफेल को उड़ान भरनी पड़ी. हवा में उड़ते इस ऑब्जेक्ट को हम यूएफओ के नाम से जानते हैं. आज हम आपको इसी यूएफओ को लेकर जानकारी दे रहे हैं कि आखिर ये होता क्या है और इसे लेकर क्या-क्या थ्योरी हैं.
मणिपुर में क्या दिखा?
सबसे पहले ये जान लेते हैं कि मणिपुर में आखिर क्या हुआ… जब पूरा देश वर्ल्ड कप देख रहा था, तभी इंफाल में एयरपोर्ट के पास यूएफओ दिखा. ये एक सफेद रंग का ऑब्जेक्ट था, जिसे कई लोगों ने अपने कैमरे में भी कैद किया. इस घटना के बाद कई फ्लाइट्स को डायवर्ट किया गया. एयरफोर्स को जानकारी दी गई और इसके बाद इसे मारने के लिए दो राफेल जेट्स को हवा में भेजा गया, हालांकि तब तक ये ऑब्जेक्ट गायब हो चुका था. अब तक पता नहीं चल पाया कि आखिर ये चीज क्या थी…
इस घटना के बाद ट्विटर पर लोगों ने एलियंस वाली थ्योरी खूब चलाई. लोगों ने कहा कि अमेरिका छोड़कर अब एलियन इंडिया पहुंच चुके हैं. हालांकि कुछ लोगों का ये भी कहना है कि चीन की सीमा से सटे मणिपुर में दिखा ये ऑब्जेक्ट जासूसी का कोई तरीका हो सकता है.
क्या होता है यूएफओ?
An unidentified flying object, or unidentified anomalous phenomenon, is any perceived aerial phenomenon that cannot be immediately identified or explained. Upon investigation, most UFOs are identified as known objects or atmospheric phenomena, while a small number remain unexplained
अब ये जान लेते हैं कि आखिर ये यूएफओ होता क्या है और इसे एलियंस के साथ जोड़कर क्यों देखा जाता है. यूएफओ का मतलब होता है अनआइडेंटिफाइड ऑब्जेक्ट, यानी ऐसी चीज जिसकी पहचान नहीं की जा सकती है. आमतौर पर अमेरिका जैसे देशों में ये कॉन्सेप्ट खूब चर्चा में रहते हैं. कई ऐसी थ्योरी हैं, जिनमें ये कहा जाता है कि दूसरे ग्रहों से आने वाले लोग इन यूएफओ में एक जगह से दूसरी जगह पर जाते हैं. हालांकि ये थ्योरी अब तक सही साबित नहीं हो पाई है और न ही इसके पुख्ता सबूत मिले हैं.