भोपाल | मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने प्रदेशवासियों को भारतीय गणराज्य के 75वें गणतंत्र दिवस पर हार्दिक बधाई और शुभकामनाएं देते हुए कहा है कि स्वतंत्र भारत के अमृत महोत्सव के अभूतपूर्व आयोजन के बाद अब गणतंत्र भारत के अमृत महोत्सव का शुभागमन हुआ है। राज्य सरकार की पहल पर पहली बार गणतंत्र दिवस की परेड में शामिल हुए जिला पुलिस बैंड की धुन पर बजते देशभक्ति के तराने, देश के लिए जीने और देश के लिए मरने की प्रेरणा दे रहे हैं। उन्होंने भारत माता की आजादी के लिए हंसते-हंसते सूली चढ़ने वाले अमर शहीदों के चरणों में विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए डॉ. बाबा साहेब अंबेडकर एवं अन्य सभी संविधान निर्माताओं के प्रति कृतज्ञता ज्ञापित की। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव 75वें गणतंत्र दिवस पर उज्जैन के दशहरा मैदान में आयोजित कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने झंडा-वंदन कर परेड की सलामी ली तथा शांति के प्रतीक स्वरूप गुब्बारे छोड़े। इस अवसर पर कलापथक दल द्वारा मध्यप्रदेश गान प्रस्तुत किया गया है।
चित्रकूट को विश्वस्तरीय धार्मिक एवं पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जाएगा
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि यह अद्भुत संयोग है कि राष्ट्र-पर्व के ठीक पहले राष्ट्र-गर्व के एक महान प्रसंग ने अयोध्या में स्वर्णिम अध्याय रच दिया। यशस्वी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी की पहल से हुई भगवान श्रीराम की प्राण प्रतिष्ठा से भारत में राम राज्य की संकल्पना जीवंत और जयवंत हो गई। काल के केन्द्र भगवान महाकालेश्वर की नगरी उज्जैन से 5 लाख लड्डू प्रसाद के रूप में मध्यप्रदेश की मिठास अयोध्या भेजी गई। प्राण प्रतिष्ठा का पर्व पूरे प्रदेश में अध्यात्म और आस्था के उत्सव के रूप में मनाया गया। प्रभु श्रीराम के चरणों में विनयांजलि के रूप में राज्य सरकार ने श्रीराम वन गमन पथ के सभी प्रमुख स्थलों का विकास करते हुए चित्रकूट को विश्व-स्तरीय धार्मिक एवं पर्यटन स्थल का स्वरूप प्रदान करने का निर्णय लिया है। यहां प्रतिवर्ष रामायण मेले का आयोजन भी किया जाएगा। इसी प्रकार ओरछा के श्रीराम राजा परिसर में राज्य सरकार श्रीराम राजा लोक के विकास का पुनीत कार्य कर रही है। मुख्यमंत्री तीर्थ-दर्शन योजना के माध्यम से प्रदेश के वरिष्ठ नागरिकों को हवाई मार्ग एवं रेल मार्ग से भगवान श्रीराम के पावन दर्शन के लिए अयोध्या की यात्रा कराई जाएगी। राज्य सरकार ने उज्जैन में आगामी महाशिवरात्रि पर्व से गुड़ी पड़वा पर्व तक विक्रमोत्सव-2024 और विशाल व्यापार मेले के आयोजन का निर्णय लिया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी की संकल्प-शक्ति से 140 करोड़ भारतवासियों की सदियों की प्रतीक्षा समाप्त हुई और एक नई आध्यात्मिक शक्ति का उदय हुआ है।
विकसित भारत संकल्प यात्रा से प्रदेश के 50 लाख से अधिक लोग लाभान्वित हुए
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में सबका विकास लोकतंत्र का शरीर और राम राज्य लोकतंत्र की आत्मा बन गए हैं। विकसित भारत-संकल्प यात्रा वर्ष 2047 तक भारत को विकसित देशों की श्रेणी में लाने की मोदी जी की गारंटी का प्रतीक बनकर उभरी है। मोदी जी की गारंटी वाली गाड़ी गांव-गांव, नगर-नगर पहुंची और उन वंचितों की जिन्दगी बदलने का माध्यम बनी, जो अब तक सरकार की योजनाओं का लाभ नहीं ले पाए थे। आज 26 जनवरी को इस यात्रा का समापन है और मुझे यह कहते हुए खुशी है कि यात्रा के दौरान मध्यप्रदेश में 50 लाख से भी अधिक लोगों को लाभान्वित किया गया है। यात्रा में संपूर्ण प्रदेश में 2 करोड़ से अधिक नागिरकों का उमंग और उल्लास के साथ शामिल होना यह सिद्ध करता है कि एमपी के मन में मोदी जी हैं और मोदी जी के मन में एमपी।
मकर संक्रांति उत्सव पर 1 करोड़ 29 लाख बहनों के खातों में जारी किए एक हजार 576 करोड़ रुपये
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी जी के आव्हान पर दिनांक 10 से 15 जनवरी तक महिला सशक्तिकरण एवं युवा ऊर्जा पर केंद्रित मकर संक्रांति उत्सव मध्यप्रदेश में उल्लास और उमंग के साथ मनाया गया। इस अवसर पर प्रदेश की एक करोड़ 29 लाख लाड़ली बहनों के खातों में एक हजार 576 करोड़ रुपये से अधिक की राशि और 56 लाख से अधिक हितग्राहियों के खातों में 341 करोड़ रुपये की सामाजिक सुरक्षा पेंशन राशि अंतरित की गई। माँ तुझे प्रणाम योजना के अंतर्गत 150 युवतियों के दल को स्टेच्यु ऑफ यूनिटी, एकता नगरी, केवड़िया, गुजरात के भ्रमण पर भेजा गया। महिलाओं और युवाओं पर केंद्रित रोजगार मेलों का भी आयोजन किया गया।
स्वच्छता के साथ-साथ अनेक योजनाओं और कार्यक्रमों में मध्यप्रदेश देश में अव्वल है
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि वर्ष 2024 का प्रारंभ मध्यप्रदेश के लिए बड़ी उपलब्धियां लेकर आया है। स्वच्छ सर्वेक्षण-2023 में देश के सबसे स्वच्छ शहर का पुरस्कार पाकर इन्दौर ने सातवां आसमान छू लिया। मध्यप्रदेश देश का दूसरा स्वच्छतम राज्य और भोपाल स्वच्छतम राजधानी बना है। प्रदेश के 7 शहर वाटर प्लस, 361 शहर ओडीएफ डबल प्लस, एक शहर 7-स्टार, एक 5 स्टार, 24 शहर 3-स्टार और 132 शहर 1-स्टार गार्बेज फ्री श्रेणी में पुरस्कृत हुए हैं। केवल स्वच्छता ही नहीं, बल्कि अन्य अनेक महत्वाकांक्षी योजनाओं और कार्यक्रमों में मध्यप्रदेश देश के सबसे अग्रणी राज्यों में शामिल है। यह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी के सबका साथ-सबका विकास-सबका प्रयास-सबका विश्वास के मंत्र के अक्षरश: पालन से ही संभव हो सका है।
राज्य सरकार की पहचान बने हैं त्वरित रूप से लिए गए लोक हितैषी निर्णय
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रदेश की नई डबल इंजन सरकार ने आज 26 जनवरी को अपने गठन के 45 दिन पूरे कर लिए हैं। इस अल्प अवधि में सरकार ने कई त्वरित लोक हितैषी निर्णय लेकर जनता के मन पर अपनी एक अलग छाप छोड़ी है। इन्दौर की हुकुमचंद मिल के 4 हजार 800 से अधिक मजदूर भाई-बहनों के हक की 224 करोड़ रुपये से अधिक की राशि प्रदान करने का बड़ा निर्णय़ लिया। चाहे ध्वनि विस्तारक यंत्रों के नियमों और मापदंडों के विपरीत उपयोग पर प्रतिबंध की बात हो या फिर बिना लायसेंस के खुले में मांस-मछली आदि के क्रय-विक्रय पर रोक लगाना हो या फिर खुले बोरवेलों को बंद कराने का अभियान चालाना हो-शपथ ग्रहण के तत्काल बाद लिये गए इन जनहितकारी निर्णयों से सरकार ने ये साफ संदेश दे दिया है कि प्रदेश में कोई भी कानून से ऊपर नहीं है। गुंडे-बदमाशों के मन में पुलिस का डर बिठाना और आम आदमी के मन में पुलिस का डर निकालना ही सरकार की प्राथमिकता है। जन-सुविधा के दृष्टि से भोपाल स्थित बीआरटीएस कॉरिडोर को हटाने का निर्णय भी इस बात का प्रतीक है कि जब-जब जनता के हित की बात होगी, तब-तब सरकार कड़े फैसले लेने में एक मिनट की भी देरी नहीं करेगी।
सरकार जो कहती है, वो करके दिखाती है
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सरकार के कामकाज में हर स्तर पर शुचिता, पारदर्शिता, विकेन्द्रीकरण, त्वरित निर्णय, कार्य दक्षता, अनुशासन एवं संवेदनशीलता दिखाई दे, इस उद्देश्य से अनेक नए कदम उठाए गए हैं। विभागों की समीक्षा के माध्यम से हर लक्ष्य की प्राप्ति के लिए माइक्रों प्लानिंग की जा रही है, वहीं दूसरी ओर सभी संभागों के विकास और कानून व्यवस्था की समीक्षा करते हुए स्थानीय चुनौतियों को समझकर मौके पर ही निर्णय लिए जा रहे हैं। संभागीय मुख्यालय पर बड़े पैमाने पर विकास कार्यों के शिलान्यास और लोकार्पण यह सिद्ध करते है कि सरकार जो कहती है, वो करके दिखाती है। सरकार ने जन सामान्य की सुविधा को केन्द्र में रखते हुए विभिन्न प्रशासनिक इकाइयों जैसे-जिला, तहसील, थाने आदि की सीमाओं के युक्तियुक्तकरण की कार्यवाही प्रारंभ करने का निर्णय लिया है। साइबर तहसील परियोजना को भी पूरे प्रदेश में लागू करने का निर्णय लिया गया है। सुशासन को केन्द्र में रखकर उठाए गए ये सभी कदम विकसित मध्यप्रदेश के निर्माण में मील का पत्थर साबित होंगे।
मध्यप्रदेश को सड़कों की दृष्टि से स्वर्णिम युग में पहुंचाया जाएगा
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि नर्मदा प्रगति पथ, विंध्य एक्सप्रेस-वे, मालवा निमाड़ विकास पथ, अटल प्रगति पथ, बुंदेलखंड विकास पथ, मध्य भारत विकास पथ, रिंग रोड, बायपास, रोप-वे, फ्लाईओवर, रेल ओवर ब्रिज एवं एलिवेटेड कॉरिडोर आदि का मिशन मोड में निर्माण कर मध्य़प्रदेश को सड़कों की दृष्टि से स्वर्णिम युग में पहुंचाया जाएगा। सांची सोलर सिटी की स्थापना के बाद अब 5 प्रमुख पर्यटन शहरों को सोलर सिटी बनाने का लक्ष्य है। प्रदेश की रीवा सोलर पार्क परियोजना को माननीय प्रधानमंत्री जी की, “अ बुक ऑफ इनोवेशन” में स्थान मिला है। विश्व की सबसे बड़ी ओंकारेश्वर फ्लोटिंग सौर परियोजना की तर्ज पर 250 मेगावॉट की बिरसिंहपुर फ्लोटिंग सौर परियोजना लगभग एक हाजर 800 करोड़ रुपये के निवेश से क्रियान्वित करने का लक्ष्य है। राज्य सरकार न केवल नई सिंचाई क्षमता निर्मित कर रही है, बल्कि उपलब्ध सिंचाई क्षमता का भी भरपूर उपयोग सुनिश्चित कर रही है। बुंदेलखंड की जीवन-रेखा कही जाने वाली केन-बेतवा लिंक परियोजना के प्रथम चरण का निर्माण इस वर्ष प्रारंभ कर दिया जाएगा।
उज्जैन में चना, ग्वालियर में सरसों और डिंडोरी में श्रीअन्न अनुसंधान संस्थान विकसित होंगे
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश के विकास-पथ को हमारे किसान भाई-बहनों ने अपने खून-पसीने से सींचा है। उनके परिश्रम का ही परिणाम है कि मध्यप्रदेश आज देश के दालों में उत्पादन में पहले, खाद्यान्न उत्पादन में दूसरे और तिलहन उत्पादन में तीसरे स्थान पर है। डिंडोरी में श्रीअन्न अनुसंधान संस्थान, उज्जैन में चना अनुसंधान संस्थान और ग्वालियर में सरसों अनुसंधान संस्थान की स्थापना से इन फसलों की देशी किस्मों के संरक्षण और नई किस्मों के विकास की नई राहें खुलेंगी। राज्य सरकार द्वारा 100 करोड़ रुपए से भी अधिक की नई रानी दुर्गावती श्रीअन्न प्रोत्साहन योजना लागू कर दी गई है। इसके अंतर्गत श्रीअन्न उत्पादन करने वाले किसानों को प्रति किलो 10 रुपए की अतिरिक्त प्रोत्साहन राशि दी जायेगी। साथ ही फसल उत्पादन, भण्डारण, प्रोसेसिंग, मार्केटिंग, उपार्जन, ब्राण्ड बिल्डिंग के साथ वैल्यू चेन विकसित की जाएगी। ग्वालियर जिले में 13 करोड़ रुपए की लागत से मध्यप्रदेश की पहली हाईटेक फ्लोरीकल्चर नर्सरी स्थापित की जा रही है।
प्रधानमंत्री जनजाति आदिवासी न्याय महाभियान (पीएम-जन-मन) में जनजाति बहुल 23 जिलों के लिए 7 हजार 300 करोड़ का प्रावधान
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि प्रदेश के 35 लाख से अधिक तेन्दूपत्ता श्रमिकों को लाभ देते हुए सरकार ने तेंदूपत्ता संग्रहण दर 3 हजार रुपये प्रति मानक बोरा से बढ़ाकर 4 हजार रुपये प्रति मानक बोरा कर दी है। प्रदेश के 5 करोड़ 30 लाख गरीब हितग्राहियों को निशुल्क खाद्यान्न का वितरण किया जा रहा है। जल जीवन मिशन में अब तक लगभग 67 लाख घरेलू नल कनेक्शन लगाए जा चुके है। आय़ुष्मान भारत योजना में लगभग 34 लाख गरीबों का नि:शुल्क उपचार किया जा चुका है। जनजातीय गौरव दिवस के शुभ अवसर पर प्रधानमंत्री श्री मोदी जी द्वारा प्रधानमंत्री जनजाति आदिवासी न्याय महाभियान (पीएम-जन-मन) प्रारंभ कर विशेष पिछड़ी जनजातियों के समग्र विकास की क्रांतिकारी शुरुआत की गई है। इससे प्रदेश में विशेष पिछड़ी जनजाति बहुल जिलों में 7 हजार 300 करोड़ रुपये से अधिक की लागत से 23 जिलों की 4 हजार 597 बसाहटों में निवास करने वाले बैगा, सहरिया एवं भरिया जनजाति के 11 लाख से अधिक भाई-बहन लाभान्वित होंगे।
मध्यप्रदेश, राष्ट्रीय शिक्षा नीति के क्रियान्वयन में प्रारंभ से ही अग्रणी रहा है
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भारत की पहचान विश्व गुरु के रूप में रही है। यह हमारा सौभाग्य है कि भगवान श्रीकृष्ण ने उज्जैन के सांदीपनि आश्रम में शिक्षा ग्रहण की थी। मध्यप्रदेश, राष्ट्रीय शिक्षा नीति के क्रियान्वयन में प्रारंभ से ही अग्रणी रहा है। राज्य सरकार ने प्रदेश के सभी 55 जिलों में 55 शासकीय महाविद्यालयों का लगभग 485 करोड़ रुपये के निवेश से पीएम उत्कृष्टता महाविद्यालयों के रूप में उन्नयन करने का निर्णय लिया है। प्रदेश के 100 से अधिक विद्यालयों में रोबोटिक्स एवं कोडिंग के प्रशिक्षण के लिए विशेष लैब स्थापित की जा रही है। नई नीति के अनुरूप युवाओं के लिए रोजगारपरक शिक्षा के अनेक पाठ्यक्रम तैयार किए गए हैं। आगर-मालवा में नया विधि महाविद्यालय प्रारंभ करने का भी निर्णय लिया गया है। शिक्षा के साथ कौशल विकास और रोजगार मिलकर एक स्वर्णिम त्रिभुज बनाते हैं। प्रदेश में 28 नए आईटीआई खोले गए हैं, जिनमें 6 हजार 700 से अधिक युवाओं को कौशल विकास का प्रशिक्षण मिल सकेगा।
एक साथ 700 लोगों को नियुक्ति पत्र प्रदान कर राज्य सरकार ने किया नवाचार
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि गणतंत्र दिवस की पूर्व संध्या पर लोक सेवा आयोग के माध्यम से चयनित लगभग 700 उम्मीदवारों को नियुक्ति पत्र प्रदान किए गए हैं। सामान्यत: पुलिस वैरीफिकेशन व अन्य जांच में चार से छह माह का समय लगता है, इस पूरी व्यवस्था को बदलते हुए एक दिन में ही एक साथ 700 लोगों को नियुक्ति पत्र प्रदान कर राज्य सरकार ने नवाचार किया है, जो सुशासन की दिशा में एक ठोस कदम है। कर्मचारी चयन मंडल के माध्यम से लगभग 28 हजार पदों के लिए आयोजित भर्ती परीक्षाओं के परिणाम भी शीघ्र घोषित किए जाकर उन्हें नियुक्ति पत्र प्रदान किए जाएंगे। वर्ष 2024-25 में रोजगार मेलों के माध्यम से 90 हजार ग्रामीण युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करने का लक्ष्य है। महिलाओं के आर्थिक सशक्तिकरण पर फोकस करते हुए अगले वित्तीय वर्ष में महिला स्व-सहायता समूहों को 3 हजार 700 करोड़ रुपये से अधिक का बैंक लिंकेज तथा लाड़ली शक्ति क्रेडिट कार्ड के माध्यम से व्यवसाय के लिए न्यूनतम ब्याज दर पर एक लाख रुपये तक की बैंक क्रेडिट सुविधा उपलब्ध कराने का लक्ष्य है।
जबलपुर के पत्थर शिल्प, बालाघाट की वारासिवनी साड़ी, उज्जैन के बटिक, ग्वालियर के कारपेट और डिंडोरी के रॉट आयरन को जीआई टैग मिलना प्रदेश के लिए बड़ी उपलब्धि
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि प्रदेश में 102 औद्योगिक क्षेत्रों तथा 35 एमएसएमई क्लस्टरों को विकसित किया जा रहा है। इसी प्रकार, स्टार्टअप की संख्या भी बढ़कर 3 हजार 700 से अधिक और इंक्यूबेटरों की संख्या बढ़कर 68 हो चुकी है। अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला-2023 में उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए मध्यप्रदेश के मण्डप को स्वर्ण पदक से सम्मानित किया गया है। हाल ही में उज्जैन के बटिक शिल्प, जबलपुर के पत्थर शिल्प, बालाघाट की वारासिवनी साड़ी, ग्वालियर के कारपेट और डिंडोरी के रॉट आयरन को जीआई टैग प्राप्त होने की बड़ी उपलब्धि हासिल हुई है। भारत सरकार के सहयोग से प्रदेश में मेडिकल डिवाइसेस पार्क, ऊर्जा उपकरण निर्माण पार्क, पीएम मित्र पार्क, मेका फुटवेयर क्लस्टर का निर्माण हो रहा है।
उज्जैन में औद्योगिक वातावरण निर्मित करने, मेडी सिटी निर्माण और आईआईटी सेटेलाइट
टाउन के लिए होगी विशेष पहल
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि प्रदेश के अंचलों में उद्योग और व्यापार कि दिशा बदलने तथा लोगों को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए राज्य सरकार निरंतर प्रयासरत है। इसी के अंतर्गत ग्वालियर के समान उज्जैन में भी व्यापार मेला आयोजित किया जाएगा। इसके लिए आवश्यक वित्तीय सहायता भी उपलब्ध कराई जाएगी तथा उज्जैन में औद्योगिक वातावरण निर्मित करने के लिए महत्वपूर्ण निर्णय लिए जायेंगे। भारत सरकार के सहयोग से उज्जैन में मेडिकल डिवाइज पार्क, ऊर्जा उपकरण निर्माण, पीएम. मित्र पार्क और मेडी सिटी के निर्माण का निर्णय लिया गया है। उज्जैन के चिकित्सालय और चिकित्सालय के सामने सामाजिक न्याय परिसर में मेडी सिटी की स्थापना की जाएगी। प्रधानमंत्री मोदी की मेडी सिटी की योजना को धरातल पर उतारने में हम सफल होंगे और उज्जैन को प्रदेश की पहली मेडी सिटी मिलेगी। उज्जैन के इंजीनियरिंग कॉलेज सहित सभी तकनीकी रूप से कार्यरत महाविद्यालयों के उन्नयन की बड़ी योजना बनाई गई है। इसी के अंतर्गत हाल ही में केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान के माध्यम में उज्जैन में आईआईटी सेटेलाइट टाउन के लिए सैद्धांतिक स्वीकृति प्राप्त कर ली गई है। यह तकनीकी शिक्षा के लिए बड़ी उपलब्धि होगी।
मालवा से राजस्थान को जोड़ने के लिए क्रियान्वित होगी लिंक परियोजना
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सिंचाई के लिए मालवा से राजस्थान को जोड़ने के लिए विशेष लिंक परियोजना बनाई गई है। पार्वती, कालीसिंध और चंबल नदी को मिलाकर आकार लेने वाली इस परियोजना के संबंध में मध्यप्रदेश सरकार शीघ्र ही राजस्थान सरकार के साथ एमओयू करने जा रही है।
उज्जैन में कपिला गौ शाला के लिए भी अलग से योजना बनाई जाएगी, प्रदेश की अन्य बड़ी गौशालाओं के उन्नयन तथा रखरखाव के लिए भी कार्य योजना बनाई जाएगी। विकास और जनकल्याण पर केंद्रित ऐसी योजनाओं को लेकर हम निरंतर आगे बढ़ते रहेंगे और नवाचार जारी रहेंगे।