Sensex और Nifty में 1400 अंकों की हुई भारी गिरावट

Sensex और Nifty में 1400 अंकों की हुई भारी गिरावट
भारतीय शेयर बाजार के प्रमुख बेंचमार्क इंडेक्स निफ्टी 50 और सेंसेक्स सप्ताह के आखिरी ट्रेडिंग सेशन यानी शुक्रवार (28 फरवरी) को भारी गिरावट का सामना करना पड़ा। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) के अनुसार सेंसेक्स 1409.59 अंकों की भारी गिरावट से 73,195.57 अंक पर आ गया। निफ्टी में 490.80 की गिरावट देखने को मिली। यह 4,671.70 के निचले स्तर पर पहुंच गया है।
इन 10 शेयर में दिखी गिरावट
चंबल फर्टलाइजर शेयर करीब 7 फीसदी गिरा, रेडिगटन के शेयर में 6.8%, क्रेडिट एक्‍सेस में 6%, पतंजलि फूड 10%, IREDA शेयर 7%, Hexacom करीब 5 प्रतिशत, इंफोएज करीब 6 फीसदी, टेक महिंद्रा 5 फीसदी, Indusind Bank के शेयर 4.50 फीसदी और महिंद्रा एंड महिंद्रा के शेयर करीब 5 फीसदी गिरकर कारोबार कर रहे थे।
मार्केट क्रैश के 3 बड़े कारण
टैरिफ वॉर
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रम्प ने गुरुवार को ऐलान किया कि मेक्सिको और कनाडा पर उनके प्रस्तावित टैरिफ 4 मार्च से प्रभावी होंगे। इसके अलावा, चीन को उसी तारीख से 10 प्रतिशत अतिरिक्त टैरिफ का सामना करना पड़ेगा। मेक्सिको और कनाडा से आयात पर 25 प्रतिशत टैरिफ एक महीने के लिए टाल दिया गया था। पहले यह समयसीमा 3 फरवरी को समाप्त हो रही थी। हालांकि, इस बारे में अनिश्चितता थी कि क्या ये टैरिफ वापस लगाए जाएंगे या नहीं।
एशिया के बाजारों में कमजोरी
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनल्ड ट्रंप की इस पुष्टि के बाद कि मेक्सिको और कनाडा से आयात पर शुल्क अगले सप्ताह से प्रभावी होगा। एशिआई बाजार शुक्रवार को गिरावट के साथ कारोबार कर रहे थे। जापान का निक्केई 2.81 प्रतिशत नीचे था, जबकि टॉपिक्स 1.87 प्रतिशत फिसल गया। एएसएक्स 200 और कोस्पी क्रमशः 1.03 और 2.74 प्रतिशत नीचे थे। सीएसआई 300 भी 0.6 फीसदी नीचे कारोबार कर रहा था।
AI सेक्टर में ग्रोथ
AI चिप्स इंडस्ट्री की सबसे बड़ी कंपनी एनवीडिया (Nvidia) के उम्मीद से कमजोर तिमाही नतीजों ने भी शुक्रवार को ग्लोबल मार्केट्स में भूचाल लाने में अहम भूमिका निभाई। निक्केई शेयर एवरेज शुक्रवार को अपने पांच महीने के निचले स्तर 37084.44 पर पहुंच गए। एनवीडिया के शेयर रातों रात 8.5 फीसदी तक गिर गए। कंपनी ने ग्रॉस मार्जिन के मोर्चे पर खासतौर से उम्मीद से कमजोर प्रदर्शन किया। हालांकि एनवीडिया ने आगे अपनी ग्रोथ को लेकर मजबूत अनुमान जताए हैं, लेकिन यह निवेशकों के मनोबल को उठा पाने में नाकाम रहा।

Exit mobile version