शनि देव को न्याय के देवता कहा जाता है। पौराणिक और धार्मिक कथाओं के अनुसार शनिदेव को कर्मफल दाता के रूप में बताया गया है। शनिदेव की नाराजगी से सभी भयभीत रहते हैं। शनिदेव लोगों को कर्म के हिसाब से फल देते हैं। कहा जाता है कि व्यक्ति को हमेशा अच्छे कर्म करने चाहिए, क्योंकि शनिदेव नाराज हो जाए तो राजा से रंक बनने में देर नहीं लगती है। इसी कारण से शनि को कलयुग का न्यायाधीश कहा गया है। शनिदेव मकर और कुंभ राशि के स्वामी हैं। ऐसे में शनिदेव को ये दो राशियां बहुत प्रिय है। वहीं इसके अलावा भी कुछ ऐसी राशियां हैं जो शनिदेव को प्रिय हैं। उन राशियों पर शनिदेव की विशेष कृपा होती है।
मकर राशि
शनिदेव मकर राशि के स्वामी है इसलिए उन्हें ये राशि बहुत प्रिय है। शनि की साढ़ेसाती और ढैय्या से मकर राशि वालों को ज्यादा कष्ट नहीं होता है। इतना ही नहीं मकर राशि वालों पर शनिदेव की विशेष कृपा होती है।
कुंभ राशि
कुंभ राशि के स्वामी भी शनिदेव माने जाते हैं। इस राशि के जातकों पर भी शनिदेव अपनी विशेष कृपा बरसाते हैं। शनिदेव के आशीर्वाद से इन लोगों को कभी धन की कमी नहीं होती है। ये लोग आर्थिक रूप से मजबूत रहते हैं।
वृषभ राशि
वृषभ राशि के स्वामी शुक्र देव माने जाते हैं। उनकी राशियों में शनि योगकारक माने जाते हैं। ऐसे में शनिदेव वृषभ राशि वालों को अशुभ प्रभाव नहीं देते हैं। शनिदेव वृषभ राशि वालों पर मेहरबान रहते हैं। वृषभ उनकी प्रिय राशियों में से एक है।
तुला राशि
शनिदेव को तुला राशि भी बहुत प्रिय है। इस राशि के स्वामी ग्रह भी शुक्र माने जाते हैं। तुला राशि में शनि उच्च होते हैं। ऐसे में जब शनि की ढैय्या या साढ़ेसाती चलती है तो इन राशि के जातकों को ज्यादा कष्ट नहीं होता है। तुला राशि वालों के जीवन में सफलता में शनिदेव काफी मदद करते हैं।