प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अपील पर देश भर में वीआइपी कल्चर समाप्त कर दिया गया है, नेताओं की गाड़ी से लालबत्ती उतर चुकी है, लेकिन अधिकारियों में वीआइपी कल्चर अब भी बना हुआ है। कलेक्टर कमिश्नर कांफ्रेंस में भाग लेने के लिए आए अधिकारियों के वाहनों पर फिर रंग-बिरंगी बत्तियां नजर आईं। एक कलेक्टर तो देर रात अपने वाहन में बत्ती जलाकर घूमते मिले। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने बत्ती कल्चर खत्म करने के लिए ही वाहन से बत्ती हटवाई थी, लेकिन अब वही स्थिति बनने लगी।
अधिकारियों के वाहनों में लगे हैं हूटर
मंत्रालय के प्रांगण में प्रदेशभर के ऐसे दस से अधिक जिला कलेक्टरों के वाहन पर हूटर के साथ एम्बर (रंग-बिरंगी) बत्ती लगी हुई मिली। इनमें रीवा कलेक्टर का वाहन क्रमांक एमपी-17/जेडए 1553, नरसिंहपुर कलेक्टर का वाहन क्रमांक एमपी-49/टीआइ-1229, छिंदवाड़ा कलेक्टर का वाहन क्रमांक एमपी-28/बीडी-4325 और शहडोल कलेक्टर का वाहन क्रमांक एमपी-18/बीबी 8089 सहित देवास एवं अन्य जिलों के कलेक्टरों के वाहनों में हूटर और एम्बर चमचमाते नजर आए।
जिले के बाहर वाहन में बत्ती का नहीं कर सकते उपयोग
परिवहन विभाग ने कहा कि जिला स्तर का अधिकारी अपने जिले के अंदर भ्रमण के दौरान वाहन में बत्ती लगा सकता है, लेकिन जिले की सीमा से बाहर अपने वाहन में किसी भी प्रकार की बत्ती लगाने की अनुमति नहीं है। कलेक्टर को भी जिलादंडाधिकारी होने के नाते वाहन में एम्बर लगाने की अनुमति है, लेकिन जिले के बाहर आने पर वाहन से एम्बर उतारना या उसे ढंकने का प्रविधान है।